1.3 KM यमुना ब्रिज और 160 Km/h की रफ्तार, देखिए Namo Bharat RapidX Train की Sarai Kale Khan Trial Updates

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दिल्ली-एनसीआर के लाखों यात्रियों के लिए एक बड़ी खुशखबरी है। दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल (Delhi-Meerut Rapid Rail) के एक और कॉरिडोर पर काम लगभग पूरा हो चुका है और अब Namo Bharat Train का ट्रायल सराय काले खां (Sarai Kale Khan) तक शुरू हो गया है।

यह प्रोजेक्ट न केवल दिल्ली और मेरठ के बीच सफर को बेहद आसान और तेज बनाएगा, बल्कि पूरे एनसीआर क्षेत्र के लिए यातायात का चेहरा भी बदल देगा।

इस प्रोजेक्ट की सबसे बड़ी खासियत यह है कि अब दिल्ली के सराय काले खां से लेकर मेरठ तक का सफर महज एक घंटे में पूरा हो सकेगा, जो अभी सड़क मार्ग से डेढ़ घंटे या उससे ज्यादा का है।

NCRTC (National Capital Region Transport Corporation) ने अप्रैल 2025 में न्यू अशोक नगर से सराय काले खां के बीच Namo Bharat ट्रेन का ट्रायल रन शुरू किया है। इस दौरान ट्रैक, सिग्नलिंग, पावर सिस्टम, प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर्स, और ओवरहेड इक्विपमेंट की जांच की जा रही है, ताकि यात्रियों को पूरी तरह सुरक्षित और विश्वसनीय सेवा मिल सके।

Delhi Meerut Rapid Rail Corridor

विशेषताविवरण
कुल लंबाई82-84 किमी (लगभग)
शुरूआत/टर्मिनल स्टेशनसराय काले खां (दिल्ली) – मोदिपुरम (मेरठ)
निर्माण लागत₹30,274 करोड़ (अनुमानित)
ऑपरेटरDB RRTS Operations India (Deutsche Bahn की सब्सिडियरी)
ट्रेन का नामNamo Bharat (RAPIDX)
अधिकतम गति180 किमी/घंटा (ऑपरेशनल: 160 किमी/घंटा)
दिल्ली सेक्शन14 किमी, 3 स्टेशन (सराय काले खां, आनंद विहार, न्यू अशोक नगर)
प्रमुख हब स्टेशनसराय काले खां (मल्टी-मोडल हब), आनंद विहार, गाजियाबाद
पूरी तरह चालू होने की तारीखजून 2025 (अनुमानित)
रोजाना अनुमानित यात्री8 लाख (NCRPB के अनुसार)
प्रमुख इंजीनियरिंग फीचर1.3 किमी यमुना ब्रिज, अंडरग्राउंड और एलिवेटेड सेक्शन

Namo Bharat Train का सराय काले खां तक ट्रायल: क्या-क्या हुआ खास?

  • ट्रायल रन की शुरुआत: 12 अप्रैल 2025 को न्यू अशोक नगर से सराय काले खां के बीच Namo Bharat ट्रेन का ट्रायल शुरू हुआ।
  • पहली बार यमुना नदी पार: ट्रेन ने पहली बार 1.3 किमी लंबे यमुना ब्रिज को पार किया, जो DND ब्रिज के समानांतर बना है और इसमें 32 पिलर हैं।
  • ट्रायल रन की दूरी: न्यू अशोक नगर से सराय काले खां तक 4.5 किमी की दूरी पर ट्रायल किया गया।
  • सिस्टम टेस्टिंग: ट्रायल के दौरान सिग्नलिंग, ट्रैक, प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर्स (PSDs), ओवरहेड पावर सप्लाई की जांच की गई।
  • आने वाले हफ्तों में हाई-स्पीड ट्रायल: आगे चलकर हाई-स्पीड परफॉर्मेंस और सभी सिस्टम्स की इंटीग्रेशन चेक की जाएगी।
  • मल्टी-मोडल हब: सराय काले खां स्टेशन दिल्ली मेट्रो, हजरत निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन, ISBT और सिटी बस सर्विस से सीधे जुड़ा होगा।

ट्रायल रन के फायदे

  • यात्रियों को सराय काले खां से मेरठ तक सीधा, तेज और सुरक्षित सफर मिलेगा।
  • दिल्ली-एनसीआर की ट्रैफिक समस्या में काफी राहत मिलेगी।
  • मल्टी-मोडल इंटीग्रेशन से एक ही जगह पर मेट्रो, रेलवे, बस और रैपिड रेल की सुविधा मिलेगी।

Delhi-Meerut Rapid Rail Route और स्टेशन

रूट और स्टेशन डिटेल

  • शुरुआत: सराय काले खां (दिल्ली)
  • दिल्ली सेक्शन: सराय काले खां, न्यू अशोक नगर, आनंद विहार (3 स्टेशन, 14 किमी)
  • गाजियाबाद सेक्शन: साहिबाबाद, गाजियाबाद, गुलधर, दुहाई, दुहाई डिपो, मुरादनगर, मोदीनगर साउथ, मोदीनगर नॉर्थ
  • मेरठ सेक्शन: मेरठ साउथ, और आगे मोदिपुरम टर्मिनल तक

वर्तमान में चालू सेक्शन

  • न्यू अशोक नगर से मेरठ साउथ: 55 किमी का सेक्शन चालू है, जिसमें 11 स्टेशन हैं।
  • आने वाले समय में: सराय काले खां से न्यू अशोक नगर तक का सेक्शन भी चालू हो जाएगा, जिससे पूरा 82-84 किमी का कॉरिडोर एक साथ ऑपरेशनल हो जाएगा।

Delhi Meerut Rapid Rail Corridor – प्रमुख विशेषताएं

  • देश का पहला RRTS: भारत का सबसे तेज़ रीजनल ट्रांजिट सिस्टम।
  • अधिकतम गति: 180 किमी/घंटा (ऑपरेशनल 160 किमी/घंटा), औसत गति 100 किमी/घंटा।
  • यात्रा समय: सराय काले खां से मेरठ लगभग 1 घंटे में।
  • 84 किमी लंबा कॉरिडोर: 68 किमी एलिवेटेड, 14 किमी अंडरग्राउंड, 1.5 किमी ग्रेड लेवल।
  • यमुना ब्रिज: 1.3 किमी लंबा, 32 पिलर, DND ब्रिज के समानांतर।
  • रोजाना 8 लाख यात्री: NCRPB के अनुसार अनुमानित डेली राइडरशिप।
  • इंटीग्रेटेड ट्रांसपोर्ट: रेलवे, मेट्रो, बस, रैपिड रेल – सब एक जगह।

Delhi Meerut Rapid Rail – यात्रियों के लिए फायदे

  • बेहद तेज और समय की बचत: दिल्ली से मेरठ सिर्फ 1 घंटे में।
  • सुविधाजनक सफर: पूरी तरह एसी कोच, आरामदायक सीटें, वाई-फाई, मोबाइल चार्जिंग, ऑटोमैटिक डोर।
  • सुरक्षा: प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर्स, CCTV, इमरजेंसी अलार्म।
  • पर्यावरण के अनुकूल: इलेक्ट्रिक ट्रैक, प्रदूषण में कमी।
  • मल्टी-मोडल कनेक्टिविटी: एक ही जगह से मेट्रो, रेलवे, बस की सुविधा।

Delhi Meerut Rapid Rail Corridor – प्रमुख निर्माण और तकनीकी उपलब्धियां

  • इंजीनियरिंग मार्वल: यमुना नदी पर 1.3 किमी लंबा ब्रिज, 626 मीटर नदी के ऊपर।
  • फास्ट ट्रैक कंस्ट्रक्शन: 2019 में शुरू, 2025 में पूरा।
  • जर्मन टेक्नोलॉजी: DB RRTS Operations India द्वारा ऑपरेटेड।
  • फ्यूचर रेडी: सभी कोरिडोर का टर्मिनल – सराय काले खां, भविष्य में अलवर और पानीपत कोरिडोर भी जुड़ेगा।

Delhi Meerut Rapid Rail – यात्रियों के लिए जरूरी बातें

  • टिकटिंग: डिजिटल टिकटिंग, QR कोड, स्मार्ट कार्ड, मोबाइल ऐप से बुकिंग।
  • सुविधाएं: वाई-फाई, चार्जिंग पॉइंट, ऑटोमैटिक डोर, CCTV।
  • सुरक्षा: प्लेटफॉर्म स्क्रीन डोर्स, इमरजेंसी अलार्म, फायर सेफ्टी।
  • कनेक्टिविटी: मेट्रो, रेलवे, बस, ऑटो – सब एक जगह।
  • पर्यावरण: इलेक्ट्रिक ट्रेन, प्रदूषण में कमी, ग्रीन बिल्डिंग सर्टिफिकेशन।

Delhi Meerut Rapid Rail – भविष्य में क्या बदलेगा?

  • दिल्ली-एनसीआर की लाइफस्टाइल: ऑफिस, कॉलेज, बिजनेस, टूरिज्म सब आसान।
  • रियल एस्टेट और रोजगार: नए हब, नए अवसर।
  • पर्यावरण: ट्रैफिक और प्रदूषण में भारी कमी।
  • सुरक्षा और सुविधा: विश्वस्तरीय ट्रांसपोर्ट अनुभव।

निष्कर्ष

दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल का नया कॉरिडोर और Namo Bharat ट्रेन का सराय काले खां तक ट्रायल, भारत के ट्रांसपोर्ट सिस्टम में एक ऐतिहासिक बदलाव है।

यह प्रोजेक्ट न केवल दिल्ली और मेरठ के बीच यात्रा को बेहद तेज, सुरक्षित और आरामदायक बनाएगा, बल्कि पूरे एनसीआर क्षेत्र की लाइफस्टाइल, रोजगार, पर्यावरण और ट्रैफिक व्यवस्था में भी क्रांतिकारी सुधार लाएगा।

मल्टी-मोडल इंटीग्रेशन, अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी, और यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए बनाया गया यह प्रोजेक्ट देश के लिए एक मिसाल बनेगा।

Disclaimer: यह लेख उपलब्ध सरकारी और मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है। दिल्ली-मेरठ रैपिड रेल का सराय काले खां तक ट्रायल सच में शुरू हो चुका है और जून 2025 तक पूरा कॉरिडोर चालू होने की उम्मीद है।

इसमें दी गई सभी जानकारियां वास्तविक हैं, हालाँकि अंतिम तिथि या कुछ सुविधाओं में बदलाव संभव है। यात्रा से पहले NCRTC या संबंधित प्राधिकरण की वेबसाइट पर ताजा अपडेट जरूर देखें।

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